शोहर के साथ रहने का वजीफा – Shohar Ke Sath Rehne Ka Wazifa, Dua, Amal, Upay, Tarika, बहुत से घरो मे देखा गया है की शोहर कही रहता है और बीवी कही और या अपने ससुराल, हर बीवी की खवाहिश होती है की वो अपने शोहर के साथ ही रहे, इसके लिए आज हम लेके आये है शोहर के साथ दुबारा पाने का वजीफा और शोहर के साथ विदेश में रहने का वजीफा। इसके अलावा हम लेके आये है शोहर के साथ दूसरे घर में अकेले रहने का वजीफा।
Shohar Ke Sath Rehne Ka Wazifa
यह वजीफा शौहर के साथ रहने और उसकी मोहब्बत को हासिल करने का है।हर परेशानी का हल कुरान ए मजीद में मौजूद है।हम हर परेशानी को अपने अमल और वजीफे के जरिए दूर कर सकते हैं।हर इंसान अपने घर की परेशानियों में मुब्तिला रहता है।
यह परेशानियां मियां बीवी की ना इत्तेफाक से पैदा होती है।जो घर के माहौल को खराब कर देती है नसतो नाबूत कर देती है।और इस परेशानियों को दूर करने के लिए हम आपको एक बेहतरीन वजीफा बताएंगे। यह वजीफा कुछ चंद सुरः का है।इस वजीफे में दरूदे पाक भी शामिल है यानी दरूदे इब्राहिम शामिल है।
शोहर के साथ रहने का वजीफा – Shohar Ke Sath Rehne Ka Wazifa, Dua, Amal, Upay, Tarika
सूरह इखलास शामिल है।फातिहा ,नास शामिल है इसके जरिए आपको वजीफा करना है।इस वजीफे को करने के कुछ तरीके हम आप के दरमियान पेश करते हैं।जिससे आप अपने शौहर के साथ रहने और उसके जिंदगी का हसीन सफर तय कर लेंगे।
वजीफे का वक्त फजर के बाद का है।इस वजीफे को करने से पहले अपने मुंह में कुछ मीठी चीज रख लीजिएगा।और ख्याल में अपने शौहर को रखते हुए आप इस वजीफे को करें।
सबसे पहले आप 11 बार इब्राहिमी पढ़िए,11 बार सूरह इखलास,11 बार आयते करीमा, 11 बार सूरह नास,11 बार अल्हम्दु शरीफ।हर बार बिस्मिल्लाह शरीफ पढ़ना लाजमी है।
और जब आप यह पूरा वजीफा मुक्तसर कर लें।आपको आखिर में 11 बार दरूद इब्राहिमी पढ़ना है।इस वजीफा को आप 41 से 90 दिन तक जारी रखें इंशाल्लाह आप जरूर कामयाब होंगी।
शोहर के साथ दुबारा पाने का वजीफा
शोहर के साथ दुबारा पाने का वजीफा – Shohar Ka Sath Dubara Pane Ka Wazifa, Dua, Amal, Upay, Tarika, शौहर का साथ दोबारा पाने का वजीफा है।वजीफा अगर मियां बीवी में बहुत ज्यादा गलतफहमियां पैदा होती जा रही है।गलतफहमी एक दूसरे के दिल में मोहब्बत को कम करती जा रही है।झगड़े को और ज्यादा बढ़ाती जा रही है।बाज़ औरतों को अपने शौहर से बहुत सारी शिकायतें पैदा हो जाती है।
यह शिकायतें रिश्ते को खराब करने पर मौजूद कर देती है।रोज-रोज के झगड़े रिश्तो को अंदर ही अंदर से खोखला कर देते हैं।दूसरी तरफ तस्वीर उल्टी हो जाती है।सोहर खुद बीवी पर जुल्म करता है और उसको अपने घर से और ससुराल से बेइज्जत करके बाहर निकाल देता है।
और मारपीट पर आमादा हो जाता है यह रिश्ते को इतना खराब मुकाम दे देता है कि औरतें बेबस हो जाते है।इस तरह के हालात आम जिंदगी में हम को देखने को मिलते ही है इसमें कोई दो राय नहीं है।
Shohar Ka Sath Dubara Pane Ka Wazifa
सोहर को दुबारा पाने के लिए हम आपके सामने वजीफा हाजिर करते हैं।जिसको मियां बीवी दोनों ही कर सकते हैं यह एक कुरानी वजीफा है।पारा नंबर 21 की बहुत ही पावरफुल सुरः को आपको अपने वजीफे में शामिल करना है।
ومن آياته أن خلق لكم ن هي رواجا لت و ا إليها وجعل بينكم مودة ورحمه إن في ذلك لآيت لقوم يتفوت 99
बार आपको इस सुरःकी तिलावत करनी है। अगर आपको गिनने में कोई तकलीफ या परेशानी आए तो आप ताज़बी लेकर इस सुरःकी तिलावत कर सकते हैं।
वजीफा मुकम्मल करने के बाद आप किसी मीठी चीज पर दम कर लें। मियां बीवी दोनों ही खा सकते हैं अगर चाय में उस मीठी चीज को डाल दें तो बेहतर होगा।वजीफा आप किसी भी वक्त कर सकते हैं।
शोहर के साथ विदेश में रहने का वजीफा
शोहर के साथ विदेश में रहने का वजीफा – Shohar KE Sath Videsh Mai Rahane Ka Wazifa, Dua, Amal, Upay, Tarika, यह वजीफा शौहर के साथ रहने का है।जो खातून विदेश में अपने शौहर के साथ रहने की उम्मीद रखती हैं।तो यह वजीफा आपके लिए बहुत ही कामयाब साबित होने वाला है।इस वजीफे से आप अपने शौहर के साथ विदेश में रह सकती हैं।यह वजीफा विदेश में रहने बल्कि तमाम ख्वाहिश के लिए है।
उन तमाम हाजत के लिए वजीफा बहुत ही मुजरिम है।जिसकी आप बेहद ख्वाहिश करते है।यह वजीफा तमाम हाजत को पूरी करता है जिस तरह की भी आपकी ख्वाहिश या हाजत महसूस करते हो अपनी जिंदगी में। वजीफा आपको ना ही 21 दिन ना ही 40 दिन तक करना है।
इस वजीफे को आपको सिर्फ और सिर्फ 1 दिन ही करना है।यह बहुत बार आजमाया हुआ है लोगों ने इस वजीफे से अपनी जिंदगी को बेहतर किया है।इस वजीफे को आप कभी भी कर सकते हैं।दिन या रात कोई भी वक्त में आप इस वजीफे को कर सकते है।
Shohar KE Sath Videsh Mai Rahane Ka Wazifa
वजीफा शुरू करने से पहले आपको 2 रकात नमाज नफ़िल पढ़ लेना है।नाफिल नमाज उस तरह पढ़ी जाती है।जिस तरह बाकी की नमाज़ होती हैं।फिर आपको नफिल नमाज पढ़ते ही सलाम फेरने के बाद फौरन ही आपको सजदे में जाना है।
यह कलमें आपको या अल्लाहू या मुजिबिया करीमु10:15 मिनट तक सजदे में रहकर पढ़ना है।अगर 10:15 मिनट का अलार्म लगाना हो तो आप लगा सकते हैं इसकी इजाजत है।
तीन बार दरूद इब्राहिमी नमाज वाला दरूदे इब्राहिम पड़ना लाजमी है।सौ मर्तबा आपको अल्लाह के इस बा बरकत नाम की तिलावत करनी है या मुसब्बर असबाब।तीन बार दरूद इब्राहिमी आखिरी में पढ़कर दुआ करें।
शौहर के साथ दूसरे घर में अकेले रहने का वजीफा
शौहर के साथ दूसरे घर में अकेले रहने का वजीफा – Shohar Ke Sath Dusre Ghar Mai Akele Rehne Ka Wazifa, Dua, Amal, Upay, Tarika, यह वजीफा उन औरतों के लिए है जो ससुराल में नहीं रहना चाहती हैं।और ससुराल में उनकी नहीं बनती हो और वह इस चीज की ख्वाहिश मंद रहती है।कि उनको अपने शौहर के साथ दूसरे घर में अकेले रहना है।वह अपने शादीशुदा जिंदगी को अपने शौहर के साथ अकेले जीना चाहती हैं।
आजकल हर कोई सेपरेट रहना पसंद करता है और इस मॉडल जमाने में लोग ससुराल ससुर बड़ी फैमिली से दूर रहना पसंद करते हैं।अपने शौहर अपने बच्चों के साथ ही रहना पसंद करते हैं।जो भी इस तरह की हाजत रखता है वह इस वजीफे को कर सकता है।यह वजीफा ना सिर्फ शौहर के साथ दूसरे घर में अलग रहने का है।
Shohar Ke Sath Dusre Ghar Mai Akele Rehne Ka Wazifa
बल्कि हर जायज़ मकसद को पूरा करने के लिए भी हैं।यह वजीफा बहुत लंबा नहीं है सिर्फ 1 दिन का है एक दिन में ही इंशाल्लाह आपकी कि जो हाजत होगी।चाहे जिस तरह की भी इंशाल्लाह पूरी हो जाएगी।वजीफा आपको फजर की नमाज के बाद करना है 11 बार आपको दरूद शरीफ पढ़नी है 133 बार आपको बिस्मिल्लाह शरीफ के साथ सूरह कौसर की तिलावत करनी है।
सूरह कौसर बहुत ही छोटी सी सूरह है अगर आपको गिनने में कोई परेशानी आए तो आप ताज़बी में धागा बांध सकते हैं।ताकि आपको गिनने में कोई परेशानी ना हो 133 बार ही पढ़ना है ना कम ना ज्यादा उसके बाद आप सजदे में जाकर अल्लाह ताला से दुआ करें।फिर आपको दोबारा मगरिब में इसी तरह से वजीफे को करना है।